लखनऊ. इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश के बाद उत्तर प्रदेश
में 77804 नौकिरियों का रास्ता साफ हो गया है। उच्च न्यायालय ने महत्वपूर्ण
फैसला सुनाते हुए 45 हजार शिक्षकों (Primary School Teacher) और 32002
अनुदेशकों के पदों पर दो माह में भर्ती पूरी करने के आदेश दिए हैं।
कोर्ट के इस फैसले के बाद से लखनऊ में उन अभ्यर्थियों के चेहरों पर खुशी का माहौल है, प्रदेश सरकार की रोक के बाद जिनकी नियुक्ति अटक गई थी। गौरतलब है कि 23 मार्च 2017 को प्रदेश सरकार (योगी आदित्यनाथ सरकार) ने उच्च प्राथमिक विद्यालयों (Higher Primary School) के 29334 गणित-विज्ञान के सहायक अध्यापकों (Sahayak Adhyapak) और प्राथमिक विद्यालयों के 16448 शिक्षकों के पदों पर रोक लगा दी थी। इसके अलावा हाईकोर्ट ने 32002 अनुदेशकों की भर्ती पर लगी रोक को भी रद्द कर दिया है।
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने नीरज कुमार पांडेय और अन्य अभ्यर्थियों की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश दिया। कोर्ट के आदेश के बाद जहां, 77804 अभ्यर्थियों के चेहरों पर रौनक लौट आई है, वहीं उन गार्जियन्स ने भी उच्च न्यायालय (Allahabad High Court) के फैसले का स्वागत किया है, जिनके बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ते हैं। राजधानी के महिलाबाद निवासी राजकुमार (38) कहते हैं कि हाईकोर्ट का यह फैसला काफी सुकून देने वाला है। उन्होंने बताया कि शिक्षामित्रों (UP Shiksha Mitra) के सहायक अध्यापक के पदों पर समायोजन रद्द होने के बाद से उनके बच्चे की पढ़ाई प्रभावित हो रही थी। अब कम से कम इन टीचरों की नियुक्ति से बच्चों को सही से शिक्षा तो मिल पाएगी।
योगी सरकार ने भर्ती प्रक्रिया पर लगाई थी रोक
11 जुलाई 2013 को उच्च प्राथमिक विद्यालयों में गणित-विज्ञान के 29334 पदों पर सहायक अध्यापक भर्ती (Sahayak Adhyapak Bharti) का शासनादेश जारी हुआ था। प्रक्रिया काउंसिलिंग तक आगे बढ़ी थी, लेकिन 23 मार्च 2017 को योगी सरकार ने भर्ती प्रक्रिया में धांधली और अनियमितताओं का आरोप लगाते हुए इस भर्ती पर रोक लगा दी थी। इसी के साथ यूपी सरकार ने 32002 अनुदेशकों की भर्ती प्रक्रिया पर भी रोक लगा दी थी, जिनकी भर्ती प्रक्रिया 24 अक्टूबर 2016 में शुरू हुई थी।
शिक्षकों के पद खाली
उत्तर प्रदेश में 1,12,747 प्राथमिक और 45,649 उच्च प्राथमिक विद्यालय हैं। प्रदेश में अभी शिक्षकों के कुल 46,560 पद अभी रिक्त हैं। इनमें से ग्रामीण क्षेत्रों के प्राथमिक विद्यालयों में प्रधानाध्यापक के 14,389 पद और सहायक अध्यापकों के 32,171 पद खाली हैं। इसके अलावा UP Shiksha Mitra के सहायक अध्यापक पद पर समायोजन रद्द होने के बाद से प्राथमिक विद्यालयों में छात्रों की पढ़ाई प्रभावित हुई है। हाईकोर्ट के इस फैसले के बाद कुछ हद तक स्कूलों में नियमित टीचरों का संकट खत्म हो जाएगा।
दिसंबर में होनी है 68,500 सहायक अध्यापकों की भर्ती
बेसिक शिक्षा विभाग जल्द ही 68,500 पदों पर सहायक अध्यापकों (Assistant Teacher) की भर्ती करेगा। माना जा रहा है कि टीईटी (शिक्षक पात्रता परीक्षा) परिणाम (uptet exam result 2017) के बाद ही बेसिक शिक्षा विभाग शिक्षक भर्ती (UP Shikshak Bharti) को लेकर विज्ञापन जारी करेगा। UPTET 2017 का रिजल्ट नवंबर के आखिरी सप्ताह में आने की संभावना है, ऐसे में बेसिक शिक्षा विभाग दिसंबर में 68,500 सहायक शिक्षकों के पदों पर विज्ञापन जारी करेगा।
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कोर्ट के इस फैसले के बाद से लखनऊ में उन अभ्यर्थियों के चेहरों पर खुशी का माहौल है, प्रदेश सरकार की रोक के बाद जिनकी नियुक्ति अटक गई थी। गौरतलब है कि 23 मार्च 2017 को प्रदेश सरकार (योगी आदित्यनाथ सरकार) ने उच्च प्राथमिक विद्यालयों (Higher Primary School) के 29334 गणित-विज्ञान के सहायक अध्यापकों (Sahayak Adhyapak) और प्राथमिक विद्यालयों के 16448 शिक्षकों के पदों पर रोक लगा दी थी। इसके अलावा हाईकोर्ट ने 32002 अनुदेशकों की भर्ती पर लगी रोक को भी रद्द कर दिया है।
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने नीरज कुमार पांडेय और अन्य अभ्यर्थियों की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश दिया। कोर्ट के आदेश के बाद जहां, 77804 अभ्यर्थियों के चेहरों पर रौनक लौट आई है, वहीं उन गार्जियन्स ने भी उच्च न्यायालय (Allahabad High Court) के फैसले का स्वागत किया है, जिनके बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ते हैं। राजधानी के महिलाबाद निवासी राजकुमार (38) कहते हैं कि हाईकोर्ट का यह फैसला काफी सुकून देने वाला है। उन्होंने बताया कि शिक्षामित्रों (UP Shiksha Mitra) के सहायक अध्यापक के पदों पर समायोजन रद्द होने के बाद से उनके बच्चे की पढ़ाई प्रभावित हो रही थी। अब कम से कम इन टीचरों की नियुक्ति से बच्चों को सही से शिक्षा तो मिल पाएगी।
योगी सरकार ने भर्ती प्रक्रिया पर लगाई थी रोक
11 जुलाई 2013 को उच्च प्राथमिक विद्यालयों में गणित-विज्ञान के 29334 पदों पर सहायक अध्यापक भर्ती (Sahayak Adhyapak Bharti) का शासनादेश जारी हुआ था। प्रक्रिया काउंसिलिंग तक आगे बढ़ी थी, लेकिन 23 मार्च 2017 को योगी सरकार ने भर्ती प्रक्रिया में धांधली और अनियमितताओं का आरोप लगाते हुए इस भर्ती पर रोक लगा दी थी। इसी के साथ यूपी सरकार ने 32002 अनुदेशकों की भर्ती प्रक्रिया पर भी रोक लगा दी थी, जिनकी भर्ती प्रक्रिया 24 अक्टूबर 2016 में शुरू हुई थी।
शिक्षकों के पद खाली
उत्तर प्रदेश में 1,12,747 प्राथमिक और 45,649 उच्च प्राथमिक विद्यालय हैं। प्रदेश में अभी शिक्षकों के कुल 46,560 पद अभी रिक्त हैं। इनमें से ग्रामीण क्षेत्रों के प्राथमिक विद्यालयों में प्रधानाध्यापक के 14,389 पद और सहायक अध्यापकों के 32,171 पद खाली हैं। इसके अलावा UP Shiksha Mitra के सहायक अध्यापक पद पर समायोजन रद्द होने के बाद से प्राथमिक विद्यालयों में छात्रों की पढ़ाई प्रभावित हुई है। हाईकोर्ट के इस फैसले के बाद कुछ हद तक स्कूलों में नियमित टीचरों का संकट खत्म हो जाएगा।
दिसंबर में होनी है 68,500 सहायक अध्यापकों की भर्ती
बेसिक शिक्षा विभाग जल्द ही 68,500 पदों पर सहायक अध्यापकों (Assistant Teacher) की भर्ती करेगा। माना जा रहा है कि टीईटी (शिक्षक पात्रता परीक्षा) परिणाम (uptet exam result 2017) के बाद ही बेसिक शिक्षा विभाग शिक्षक भर्ती (UP Shikshak Bharti) को लेकर विज्ञापन जारी करेगा। UPTET 2017 का रिजल्ट नवंबर के आखिरी सप्ताह में आने की संभावना है, ऐसे में बेसिक शिक्षा विभाग दिसंबर में 68,500 सहायक शिक्षकों के पदों पर विज्ञापन जारी करेगा।
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