जिले के करीब आठ हजार प्राथमिक शिक्षकों का डाटा (आनलाइन लेखा-जोखा)
कंप्यूटर से उड़ने का मामला प्रकाश में आया है। इसके साथ ही जिला बेसिक
शिक्षा अधिकारी कार्यालय के संबंधित कर्मचारियों की नींद भी उड़ गई है।
डाटा में शिक्षकों के बैंक खाते का विवरण, वेतन और एरियर आदि का विवरण यानी उनका पूरा लेखा-जोखा दर्ज था। जानकारी होने पर संबंधित अधिकारी और कर्मचारी डाटा की रिकवरी करने में जुट गए हैं।
पुरानी फाइलों की मदद ली जा रही है।
विभागीय सूत्रों का कहना है कि पिछले सप्ताह बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय में शार्ट सर्किट हुआ। इसके चलते आनलाइन सुविधा के लिए कम्प्यूटर में दर्ज किए गए प्राथमिक शिक्षकों का लेखा-जोखा ही उड़ गया। कर्मचारी गुपचुप तरीके से डाटा तैयार करने की कोशिश में दिन- रात जुटे है। हालांकि, दूसरा कंप्यूटर सेट होने के चलते नव नियुक्त शिक्षकों का डाटा बच गया है। जानकारी होने पर कुछ शिक्षकों ने गुरुवार को लेखा सेक्शन के लिपिक से सम्पर्क किया लेकिन कोई संतोषजनक उत्तर नहीं मिला। अगर समय से डाटा की फीडिंग नहीं हुई तो शिक्षकों का वेतन आदि उपलब्ध कराने में विभाग का पसीना छूट सकता है। इस घटना से गलत व्यौरा दर्ज होने का आशंका भी बढ़ गई है। इस संबंध में बीएसए ओम प्रकाश यादव ने बताया कि उन्हें कोई जानकारी नहीं है। अगर ऐसा है तो वित्त एवं लेखाधिकारी से बात की जाएगी।
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डाटा में शिक्षकों के बैंक खाते का विवरण, वेतन और एरियर आदि का विवरण यानी उनका पूरा लेखा-जोखा दर्ज था। जानकारी होने पर संबंधित अधिकारी और कर्मचारी डाटा की रिकवरी करने में जुट गए हैं।
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