इलाहाबाद : कड़ी मेहनत और जीवन संवारने की उम्मीद से प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले युवाओं का आक्रोश शुक्रवार से इलाहाबाद में चयन बोर्ड मुख्यालय पर दिखेगा।
पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार प्रतियोगियों का धरना और अनशन मुख्यालय गेट पर होगा। छह महीने से उच्चतर शिक्षा सेवा चयन आयोग, अधीनस्थ सेवा चयन आयोग, माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के क्रियान्वित न होने के चलते भर्तियां ठप हैं और युवाओं का भविष्य अंधकारमय है।
बीते दिनों डीएम के माध्यम से पीएम, राज्यपाल और सीएम को इन सभी परीक्षा संस्थाओं से संबंधित प्रतियोगियों ने ज्ञापन भेजकर आंदोलन की सामूहिक रूपरेखा बनाई थी। शासन की चुप्पी ने आखिरकार प्रतियोगियों का आक्रोश थामने की बजाए बढ़ा ही दिया। शुक्रवार से आंदोलन की शुरुआत होगी। प्रदेश में छह माह से विभिन्न भर्तियों की चयन प्रक्रिया ठप है। अधीनस्थ सेवा चयन आयोग, माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड, उच्चतर शिक्षा सेवा चयन आयोग और पुलिस भर्ती से संबंधित लाखों अभ्यर्थी इसलिए आंदोलित हैं क्योंकि उप्र में विधानसभा चुनाव के 90 दिन के भीतर सभी खाली पदों पर भर्तियां शुरू कराने का वादा कोरा ही निकला। 1नियुक्तियों के अभिलेख जांचने के निर्देश: बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों में 2005 के बाद हुई सभी भर्तियों की जांच होने जा रही है। परिषद ने बेसिक शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिया कि अभ्यर्थियों के शैक्षिक अभिलेखों का सत्यापन हर हाल में पूरा किया जाए। 1प्रभावती ने किया ज्वाइन, अनिल रिलीव : शिक्षा निदेशालय में संयुक्त शिक्षा निदेशक फाइनेंस के पद पर गुरुवार को प्रभावती वर्मा ने कार्यभार ग्रहण कर लिया।’>>महीनों से ठप चयन बोर्ड और आयोग में नहीं हो रही हैं भर्तियां1’>>जीवन संवारने को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वालों में आक्रोश
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पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार प्रतियोगियों का धरना और अनशन मुख्यालय गेट पर होगा। छह महीने से उच्चतर शिक्षा सेवा चयन आयोग, अधीनस्थ सेवा चयन आयोग, माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के क्रियान्वित न होने के चलते भर्तियां ठप हैं और युवाओं का भविष्य अंधकारमय है।
बीते दिनों डीएम के माध्यम से पीएम, राज्यपाल और सीएम को इन सभी परीक्षा संस्थाओं से संबंधित प्रतियोगियों ने ज्ञापन भेजकर आंदोलन की सामूहिक रूपरेखा बनाई थी। शासन की चुप्पी ने आखिरकार प्रतियोगियों का आक्रोश थामने की बजाए बढ़ा ही दिया। शुक्रवार से आंदोलन की शुरुआत होगी। प्रदेश में छह माह से विभिन्न भर्तियों की चयन प्रक्रिया ठप है। अधीनस्थ सेवा चयन आयोग, माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड, उच्चतर शिक्षा सेवा चयन आयोग और पुलिस भर्ती से संबंधित लाखों अभ्यर्थी इसलिए आंदोलित हैं क्योंकि उप्र में विधानसभा चुनाव के 90 दिन के भीतर सभी खाली पदों पर भर्तियां शुरू कराने का वादा कोरा ही निकला। 1नियुक्तियों के अभिलेख जांचने के निर्देश: बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों में 2005 के बाद हुई सभी भर्तियों की जांच होने जा रही है। परिषद ने बेसिक शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिया कि अभ्यर्थियों के शैक्षिक अभिलेखों का सत्यापन हर हाल में पूरा किया जाए। 1प्रभावती ने किया ज्वाइन, अनिल रिलीव : शिक्षा निदेशालय में संयुक्त शिक्षा निदेशक फाइनेंस के पद पर गुरुवार को प्रभावती वर्मा ने कार्यभार ग्रहण कर लिया।’>>महीनों से ठप चयन बोर्ड और आयोग में नहीं हो रही हैं भर्तियां1’>>जीवन संवारने को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वालों में आक्रोश
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