प्रयागराज : उप्र शिक्षक पात्रता परीक्षा यानी यूपी टीईटी 2018 को सकुशल व शांतिपूर्ण कराने को लेकर शासन व परीक्षा संस्था में अब भी तेजी से मंथन चल रहा है। परीक्षार्थियों की अब तक की सबसे अधिक संख्या होने से विशेष सतर्कता बरती जा रही है।
जिलों से ऐसी रिपोर्ट मिल रही है कि परीक्षा में संदिग्ध व उपद्रवी तत्व भी शामिल हो सकते हैं, उनकी निगरानी की खास योजना बनाई जा रही है, ताकि जरूरत पड़ने पर आसानी से कार्रवाई की जा सके।
टीईटी दो दिन बाद रविवार को प्रदेश के सभी जिलों में दो हजार से अधिक केंद्रों पर होनी है। अक्टूबर में ही विस्तृत निर्देश जारी हो चुके हैं, जिसमें परीक्षा केंद्रों पर सीआरपीसी की धारा 144 लागू करना, पुलिस स्कोर्ट की सुरक्षा में प्रश्नपत्र व ओएमआर शीट भेजना शामिल है। इन इंतजामों के बाद भी अफसर यह महसूस कर रहे हैं कि जिस तरह से इन दिनों प्रतियोगी परीक्षाओं व परिणाम को लेकर विवाद कराए जा रहे हैं, वह तत्व इस अहम परीक्षा में भी सक्रिय हो सकते हैं। जल्द ही सभी जिलों को निर्देश जारी होंगे। बेसिक शिक्षा के अपर मुख्य सचिव डॉ. प्रभात कुमार ने बुधवार को परीक्षा को लेकर वीडियो कांफ्रेंसिंग की थी, उसमें कई जिलों के डीएम ने कहा था कि उनके यहां पर परीक्षा केंद्र अधिक हैं, इसलिए हर पाली में अलग स्टेटिक मजिस्ट्रेट की तैनाती संभव नहीं हो पा रही है। इस पर परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव अनिल भूषण चतुर्वेदी ने सभी जिलों को निर्देश दिया है कि यदि स्टेटिक मजिस्ट्रेटों की कमी है तो डीएम प्रश्नपत्र पहुंचाने के लिए सेक्टर मजिस्ट्रेट नियुक्त कर सकते हैं। यह जरूरी है कि प्रश्नपत्र सुरक्षित व समय से केंद्रों तक पहुंचे। आगे की कार्यवाही स्टेटिक मजिस्ट्रेट की देखरेख में ही होगी।
जिलों से ऐसी रिपोर्ट मिल रही है कि परीक्षा में संदिग्ध व उपद्रवी तत्व भी शामिल हो सकते हैं, उनकी निगरानी की खास योजना बनाई जा रही है, ताकि जरूरत पड़ने पर आसानी से कार्रवाई की जा सके।
टीईटी दो दिन बाद रविवार को प्रदेश के सभी जिलों में दो हजार से अधिक केंद्रों पर होनी है। अक्टूबर में ही विस्तृत निर्देश जारी हो चुके हैं, जिसमें परीक्षा केंद्रों पर सीआरपीसी की धारा 144 लागू करना, पुलिस स्कोर्ट की सुरक्षा में प्रश्नपत्र व ओएमआर शीट भेजना शामिल है। इन इंतजामों के बाद भी अफसर यह महसूस कर रहे हैं कि जिस तरह से इन दिनों प्रतियोगी परीक्षाओं व परिणाम को लेकर विवाद कराए जा रहे हैं, वह तत्व इस अहम परीक्षा में भी सक्रिय हो सकते हैं। जल्द ही सभी जिलों को निर्देश जारी होंगे। बेसिक शिक्षा के अपर मुख्य सचिव डॉ. प्रभात कुमार ने बुधवार को परीक्षा को लेकर वीडियो कांफ्रेंसिंग की थी, उसमें कई जिलों के डीएम ने कहा था कि उनके यहां पर परीक्षा केंद्र अधिक हैं, इसलिए हर पाली में अलग स्टेटिक मजिस्ट्रेट की तैनाती संभव नहीं हो पा रही है। इस पर परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव अनिल भूषण चतुर्वेदी ने सभी जिलों को निर्देश दिया है कि यदि स्टेटिक मजिस्ट्रेटों की कमी है तो डीएम प्रश्नपत्र पहुंचाने के लिए सेक्टर मजिस्ट्रेट नियुक्त कर सकते हैं। यह जरूरी है कि प्रश्नपत्र सुरक्षित व समय से केंद्रों तक पहुंचे। आगे की कार्यवाही स्टेटिक मजिस्ट्रेट की देखरेख में ही होगी।