लोक सेवा आयोग की पीसीएस 2017 मुख्य परीक्षा अब अगले वर्ष ही हो सकेगी। इसकी प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम दिसंबर तक आने की संभावना है। परिणाम घोषणा के बाद सफल अभ्यर्थियों को तैयारी के लिए समय देना होगा। लिहाजा परीक्षा फरवरी के मध्य या अंत तक ही हो सकेगी।
पीसीएस प्री 2017 परीक्षा 24 सितंबर को प्रदेश के 21 जिलों में बनाए गए 982 परीक्षा केंद्रों पर हुई थी। कुल पंजीकृत 455297 परीक्षार्थियों में से 246710 यानी 54.19 प्रतिशत इसमें शामिल हुए थे। आयोग में इन दिनों इन 2.46 लाख अभ्यर्थियों के ओएमआर की स्कैनिंग की जा रही है। आयोग में व्यवस्था है कि ओएमआर की स्कैनिंग के बाद ही उत्तर कुंजी जारी की जाती है।उत्तर कुंजी जारी कर आयोग इस पर प्रतियोगियों की आपत्तियां लेगा। आपत्तियों का निस्तारण कराने के उपरांत संशोधित उत्तर कुंजी तैयार करने के बाद ही ओएमआर का मूल्यांकन शुरू हो सकेगा। जाहिर है कि इस पूरी प्रक्रिया में नवंबर तक का समय लग जाएगा। लिहाजा प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम दिसंबर के पहले या दूसरे सप्ताह तक ही आने की संभावना है। प्रतियोगी छात्र प्री का परिणाम आने के बाद मेन्स की तैयारी के लिए कम से कम दो माह का वक्त देने की मांग लंबे समय से करते आ रहे हैं। वैसे काफी पहले तैयारी के लिए प्रतियोगियों को तीन माह का समय भी मिलता था। पूर्व अध्यक्ष डॉ. अनिल यादव के कार्यकाल में प्रतियोगियों को तैयारी के लिए 30 दिन का वक्त भी नहीं मिल पा रहा था। पीसीएस 2015 की प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम घोषित होने के महज 24 दिन बाद 29 जून 2015 से मुख्य परीक्षा करा दी गई थी। इससे पूर्व की पीसीएस परीक्षाओं में भी प्रतियोगियों को मेन्स की तैयारी के लिए पर्याप्त वक्त नहीं दिया गया था। आयोग के अफसरों ने प्रतियोगियों को तैयारी के लिए पर्याप्त वक्त देने का आश्वासन दिया है। ऐसे में न्यूनतम दो माह का वक्त देने पर मुख्य परीक्षा फरवरी में ही हो संभव हो सकेगी। बता दें कि नायब तहसीलदार (एनटी) के 101 पद बढ़ने के बाद अब पीसीएस 2017 में पदों की संख्या 540 हो गई है। प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम घोषित होने तक पीसीएस संवर्ग के जितने पदों का अधियाचन शासन से मिलेगा, उसे इस भर्ती में शामिल किया जाएगा। स्पष्ट है कि पदों की संख्या अभी और बढ़ेगी।
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पीसीएस प्री 2017 परीक्षा 24 सितंबर को प्रदेश के 21 जिलों में बनाए गए 982 परीक्षा केंद्रों पर हुई थी। कुल पंजीकृत 455297 परीक्षार्थियों में से 246710 यानी 54.19 प्रतिशत इसमें शामिल हुए थे। आयोग में इन दिनों इन 2.46 लाख अभ्यर्थियों के ओएमआर की स्कैनिंग की जा रही है। आयोग में व्यवस्था है कि ओएमआर की स्कैनिंग के बाद ही उत्तर कुंजी जारी की जाती है।उत्तर कुंजी जारी कर आयोग इस पर प्रतियोगियों की आपत्तियां लेगा। आपत्तियों का निस्तारण कराने के उपरांत संशोधित उत्तर कुंजी तैयार करने के बाद ही ओएमआर का मूल्यांकन शुरू हो सकेगा। जाहिर है कि इस पूरी प्रक्रिया में नवंबर तक का समय लग जाएगा। लिहाजा प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम दिसंबर के पहले या दूसरे सप्ताह तक ही आने की संभावना है। प्रतियोगी छात्र प्री का परिणाम आने के बाद मेन्स की तैयारी के लिए कम से कम दो माह का वक्त देने की मांग लंबे समय से करते आ रहे हैं। वैसे काफी पहले तैयारी के लिए प्रतियोगियों को तीन माह का समय भी मिलता था। पूर्व अध्यक्ष डॉ. अनिल यादव के कार्यकाल में प्रतियोगियों को तैयारी के लिए 30 दिन का वक्त भी नहीं मिल पा रहा था। पीसीएस 2015 की प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम घोषित होने के महज 24 दिन बाद 29 जून 2015 से मुख्य परीक्षा करा दी गई थी। इससे पूर्व की पीसीएस परीक्षाओं में भी प्रतियोगियों को मेन्स की तैयारी के लिए पर्याप्त वक्त नहीं दिया गया था। आयोग के अफसरों ने प्रतियोगियों को तैयारी के लिए पर्याप्त वक्त देने का आश्वासन दिया है। ऐसे में न्यूनतम दो माह का वक्त देने पर मुख्य परीक्षा फरवरी में ही हो संभव हो सकेगी। बता दें कि नायब तहसीलदार (एनटी) के 101 पद बढ़ने के बाद अब पीसीएस 2017 में पदों की संख्या 540 हो गई है। प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम घोषित होने तक पीसीएस संवर्ग के जितने पदों का अधियाचन शासन से मिलेगा, उसे इस भर्ती में शामिल किया जाएगा। स्पष्ट है कि पदों की संख्या अभी और बढ़ेगी।
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