नई शिक्षा नीति के तहत लविवि ने चार वर्षीय स्नातक स्तर पर पाठ्यक्रम बनाने की तैयारी शुरू

 लखनऊ : नई शिक्षा नीति के तहत लविवि ने स्नातक स्तर पर पाठ्यक्रम बनाने की तैयारी शुरू कर दी है। मंगलवार को बुलाई गई बैठक में चार वर्षीय स्नातक पाठ्यक्रम पर विस्तार से चर्चा हुई।



विवि पहले ही नई शिक्षा नीति के दिशा निर्देशों के अनुसार परास्नातक स्तर पर च्वाइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम शुरू कर चुका है। जिसके तहत अंतर विभागीय वैल्यू एडेड कोर्सेज डिजरटिशन इंटर्नशिप और फील्ड वर्क जैसे कोर्स हर विभाग में चलाए जा रहे हैं। इसी क्रम में विवि में चार वर्षीय स्नातक पाठ्यक्रम तैयार करने पर बैठक हुई। तय हुआ कि स्नातक स्तर के पाठ्यक्रम को संशोधित कर उसे नई शिक्षा नीति के अनुसार बनाने के लिए मेजर कोर्सेज के साथ माइनर इंट्रा/इंटर डिपार्टमेंट इलेक्टिव भी विद्यार्थियों को उपलब्ध कराए जाएंगे। वहीं, विद्यार्थियों को प्रोग्रेसिव रिसर्च की तरफ अग्रसर करने के लिए चार वर्षीय स्नातक के नए पाठ्यक्रम में माइनर प्रोजेक्ट व रिसर्च मेथाडोलाजी भी पढ़ाई जाएगी। बैठक में प्रो. तृप्ता, प्रो. आरके महेश्वरी, प्रो. अर¨वद, प्रो. सीपी सिंह, प्रो. पूनम मौजूद रहीं।

फार्मास्यूटिकल साइंसेज की पढ़ाई जल्द

लविवि की ओर से हाल ही में फार्माकोलाजी और फार्मास्यूटिकल साइंसेज की पढ़ाई को लेकर की गई घोषणा पर फार्मेसी काउंसिल आफ इंडिया ने प्राथमिक तौर पर विवि को अनुमति दे दी है। आनलाइन पर्सनल हियरिंग कमेटी मीटिंग में काउंसिल ने विवि को अनुमति दी है।