नई दिल्ली, प्रेट्र : सुप्रीम कोर्ट को एक मामले में कहना पड़ा कि हम भगवान नहीं हैं, जो सब कुछ कर दें। धनेश ईशधन ने देश से मच्छरों के उन्मूलन का निर्देश देने की मांग करते हुए याचिका दायर की थी।
इसी याचिका पर शीर्ष अदालत ने कहा कि जो काम केवल भगवान कर सकते हैं, वह हमें करने के लिए न कहें।जस्टिस मदन बी. लोकुर और जस्टिस दीपक गुप्ता ने कहा, ‘हम हर किसी के घर में नहीं जा सकते। यह नहीं कह सकते कि यहां जो मच्छर हैं, उन्हें समाप्त कर दो। आप हमसे यह क्या करने के लिए कह रहे हैं। यह तो केवल भगवान ही कर सकते हैं। हम भगवान नहीं हैं।’ याचिकाकर्ता ने जब बीमारी का कारण बने मच्छरों के उन्मूलन के लिए एकीकृत दिशानिर्देश तैयार करने की मांग की तो पीठ ने कहा, ‘हमें नहीं लगता कि कोई भी अदालत अधिकारियों को देश से मच्छरों का सफाया करने का निर्देश दे सकती है।’
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इसी याचिका पर शीर्ष अदालत ने कहा कि जो काम केवल भगवान कर सकते हैं, वह हमें करने के लिए न कहें।जस्टिस मदन बी. लोकुर और जस्टिस दीपक गुप्ता ने कहा, ‘हम हर किसी के घर में नहीं जा सकते। यह नहीं कह सकते कि यहां जो मच्छर हैं, उन्हें समाप्त कर दो। आप हमसे यह क्या करने के लिए कह रहे हैं। यह तो केवल भगवान ही कर सकते हैं। हम भगवान नहीं हैं।’ याचिकाकर्ता ने जब बीमारी का कारण बने मच्छरों के उन्मूलन के लिए एकीकृत दिशानिर्देश तैयार करने की मांग की तो पीठ ने कहा, ‘हमें नहीं लगता कि कोई भी अदालत अधिकारियों को देश से मच्छरों का सफाया करने का निर्देश दे सकती है।’
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