एसआइटी की जांच में खुलासे के बाद तीन शिक्षकों को बचाने की थी साजिश

जागरण संवाददाता, फीरोजाबाद : एसआइटी की जांच में खुलासे के बाद भी कुछ शिक्षकों को बचाने की पटकथा बीएसए दफ्तर में ही लिखी जा रही थी। सीडी की जांच करने वालों ने तीन नामों को ही गायब कर दिया। बाद में जब बीएसए डॉ.सच्चिदानंद यादव ने शपथ पत्र मांगे तो लिपिकों में खलबली मच गई।
भविष्य में खुद पर कार्रवाई न हो जाए। इसके चलते फिर से जांच के नाम पर फर्जी शिक्षकों की सूची में तीन नाम बढ़ा दिए गए। हालांकि विभाग द्वारा कहा जा रहा है पुन: हुई जांच में यह नाम मिले हैं, लेकिन पहले मात्र 151 ही नाम बताने से विभाग की मंशा पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
फर्जी शिक्षकों के तार बीएसए दफ्तर तक जुड़े हैं। इस बात की चर्चाएं पहले दिन से थीं। जिस दिन एसआइटी से आई सीडी की जांच शुरू हुई थी। उसी दिन से इस जांच पर सवाल उठ रहे थे। सीडी की जांच में कुछ ऐसे चेहरे भी शामिल थे, जिनके तार पहले से फर्जी शिक्षकों से जुड़े होने की आशंका थी। जिले के शिक्षक खुलेआम इनके प्रमाण पत्रों पर भी संदेह उठाते रहे हैं।
बीएसए द्वारा मांगे गए शपथ पत्र में लिपिकों को यह लिखकर देना था हमारे द्वारा सभी फाइलों का मिलान कर लिया है तथा अब उक्त सत्र की कोई फाइल जांच से वंचित नहीं है। सूत्रों की मानें तो पहले सोचा था बाद में अगर मामला खुला भी तो कह देंगे। यह फाइल जांच से रह गई होगी, लेकिन शपथ पत्र का नाम जब आया तो लिपिकों ने फिर से जांच करने की बात कही। इसके बाद में यह तीन नाम प्रकाश में आए हैं। इन्हें भी शासन को भेजा गया है। इन तीन शिक्षकों का नाम वेतन रुकने वाली सूची में भी नहीं है। 151 में से सिर्फ 150 शिक्षकों का वेतन रोका गया है। बताया जाता है एक शिक्षक की पहले ही मौत हो चुकी है।
गोपनीयता पर खंड शिक्षाधिकारियों ने भी जताई थी आपत्ति :
फर्जीवाड़े में फंसे शिक्षकों का वेतन रोकने के आदेश हो गए, लेकिन खंड शिक्षाधिकारियों को पता नहीं था कि उनके ब्लॉक के किस-किस शिक्षक का वेतन रुका है। नोटिस भी सीधे शिक्षकों को दफ्तर बुलाकर ही दिए जा रहे थे। ऐसे में कुछ लोगों ने इस पर आपत्ति भी जताई। इसके बाद विभाग ने खंड शिक्षाधिकारियों को कुछ नाम देते हुए कहा कि सार्वजनिक नहीं करने हैं। सूत्र बताते हैं कि कुछ नाम विभाग ने खंड शिक्षाधिकारियों को भी नहीं बताए हैं।
'विभाग द्वारा जांच की जा रही है। बाबुओं का कहना है कुछ अंकतालिका पर नंबर स्पष्ट नहीं थे। बाद में तीन नाम और मिले हैं। इनके खिलाफ भी कार्रवाई की जा रही है। सौ शिक्षक नोटिस ले गए हैं, शेष को रजिस्टर्ड डाक से भेजे जा रहे हैं। नोटिस न लेने पर इसे घर पर चस्पा कराया जाएगा।'
-डॉ.सच्चिदानंद यादव
जिला बेसिक शिक्षाधिकारी

फीरोजाबाद
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