अनिल त्यागी, मोदीनगर : सरकार कामचोर मुलाजिमों पर नकेल कसने की कवायद
लगातार कर रही है। अब नई शुरुआत शिक्षा विभाग में की गई है। परिषदीय
स्कूलों के अध्यापकों को ड्यूटी पर समय से पहुंचकर 'ई-शिक्षा गाजियाबाद' ऐप
पर अपनी सेल्फी अपलोड करनी पड़ेगी।
अध्यापक को अवकाश की स्वीकृति भी इसी ऐप से मिलेगी। इसके लिए अध्यापक को स्मार्ट फोन रखना जरूरी है। अध्यापकों को मोबाइल में 'ई-शिक्षा गाजियाबाद' ऐप अपलोड करने के आदेश जारी हो गए हैं। इस संबंध खंड शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने अध्यापकों के साथ बैठक भी कर ली है। भोजपुर के खंड शिक्षा अधिकारी पवन कुमार भाटी ने बताया कि अब निर्धारित समय पर अध्यापक को डयूटी पर पहुंचना होगा। वहां स्कूल की लोकेशन को दर्शाती अपनी सेल्फी अध्यापक को बेसिक शिक्षा विभाग के 'ई-शिक्षा गाजियाबाद' ऐप पर अपलोड करनी होगी। सेल्फी अपलोड करने के समय से ही अध्यापक की स्कूल में उपस्थिति दर्ज मानी जाएगी। खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि अध्यापक को अवकाश की स्वीकृति भी इसी ऐप से मिलेगी। ऐसा न करने वाले अध्यापकों को डयूटी से अनुपस्थित माना जाएगा। सभी अध्यापकों को स्मार्टफोन रखने की अनिवार्यता की गई है। इसके अलावा विद्यालय संबंधी सभी प्रकार की सूचनाओं का आदान-प्रदान भी इसी ऐप के जरिए किया जाएगा। खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि सभी परिषदीय स्कूलों के अध्यापकों को यह ऐप अपलोड करना जरूरी है। कार्यालय पर बैठक बुलाकर अध्यापकों को इसकी जानकारी दे दी गई है। करीब 100 अध्यापकों ने ऐप अपलोड भी कर लिया है। खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि स्थानीय अधिकारियों की मिलीभगत से डयूटी में लापरवाही बरतने वाले अध्यापक अब किसी भी तरह का बहाना बनाकर कार्रवाई से बच नही सकते।
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अध्यापक को अवकाश की स्वीकृति भी इसी ऐप से मिलेगी। इसके लिए अध्यापक को स्मार्ट फोन रखना जरूरी है। अध्यापकों को मोबाइल में 'ई-शिक्षा गाजियाबाद' ऐप अपलोड करने के आदेश जारी हो गए हैं। इस संबंध खंड शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने अध्यापकों के साथ बैठक भी कर ली है। भोजपुर के खंड शिक्षा अधिकारी पवन कुमार भाटी ने बताया कि अब निर्धारित समय पर अध्यापक को डयूटी पर पहुंचना होगा। वहां स्कूल की लोकेशन को दर्शाती अपनी सेल्फी अध्यापक को बेसिक शिक्षा विभाग के 'ई-शिक्षा गाजियाबाद' ऐप पर अपलोड करनी होगी। सेल्फी अपलोड करने के समय से ही अध्यापक की स्कूल में उपस्थिति दर्ज मानी जाएगी। खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि अध्यापक को अवकाश की स्वीकृति भी इसी ऐप से मिलेगी। ऐसा न करने वाले अध्यापकों को डयूटी से अनुपस्थित माना जाएगा। सभी अध्यापकों को स्मार्टफोन रखने की अनिवार्यता की गई है। इसके अलावा विद्यालय संबंधी सभी प्रकार की सूचनाओं का आदान-प्रदान भी इसी ऐप के जरिए किया जाएगा। खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि सभी परिषदीय स्कूलों के अध्यापकों को यह ऐप अपलोड करना जरूरी है। कार्यालय पर बैठक बुलाकर अध्यापकों को इसकी जानकारी दे दी गई है। करीब 100 अध्यापकों ने ऐप अपलोड भी कर लिया है। खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि स्थानीय अधिकारियों की मिलीभगत से डयूटी में लापरवाही बरतने वाले अध्यापक अब किसी भी तरह का बहाना बनाकर कार्रवाई से बच नही सकते।
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