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इविवि के हिंदी विभाग को 22 साल मिले 32 शिक्षक

इलाहाबाद विश्वविद्यालय (इविवि) के हिंदी विभाग को दो दशक बाद नए शिक्षक मिल गए हैं। शनिवार को हुई कार्य परिषद की बैठक में 32 शिक्षकों की नियुक्ति से संबंधित लिफाफा खोल दिया गया। इसके साथ ही होमसाइंस में सात और सेंटर ऑफ ग्लोबलाइजेशन स्टडीज में दो शिक्षकों की भर्ती को अंतिम मंजूरी दे दी गई।
नए शिक्षकों को दो जुलाई से नियुक्ति पत्र जारी किए जाएंगे और ज्वानिंग के लिए एक माह का समय दिया जाएगा। इविवि में हिंदी विभाग की हालत सबसे ज्यादा खराब है। वहां वर्ष 1996 से कोई नियुक्ति नहीं हुई थी। विभाग में शिक्षकों के 43 पद स्वीकृत हैं लेकिन पदों पर ही नियमित शिक्षक काम कर रहे हैं। बाकी पद खाली है। नौ पदों में भी तीन पद अक्तूबर तक खाली हो जाएंगी, क्योंकि इनमें से एक शिक्षक जुलाई, दूसरे अगस्त और तीसरे शिक्षक अक्तूबर में रिटायर हो रहे हैं। हालांकि तीनों को सत्र लाभ मिल गया है और तीनों अब 30 जून 2019 को रिटायर होंगे। इनमें प्रो. मुख्ताक अली, प्रो. मीरा दीक्षित और प्रो. कात्यायनी सिंह शामिल हैं।
इस तरह 32 नए शिक्षकों की भर्ती के बाद विभाग में शिक्षकों की संख्या बढ़कर 41 हो गई है। 32 नए शिक्षकों में असिस्टेंट प्रोफेसर के 21, एसोसिएट प्रोफेसर के आठ और प्रोफेसर के तीन पदों पर भर्ती हुई है। वहीं, होम साइंस विषय में भर्ती किए गए सात नए शिक्षकों में असिस्टेंट प्रोफेसर के छह एवं एसोसिएट प्रोफेसर के एक और सेंटर ऑफ ग्लोबलाइजेशन में भर्ती दो नए शिक्षकों में असिस्टेंट प्रोफेसर एवं एसोसिएट प्रोफेसर के एक-एक पद पर नियुक्ति हुई है। हिंदी में शिक्षक भर्ती के लिए 18 से 23 जून और होमसाइंस एवं ग्लोबाइजेशन में भर्ती के लिए 28 एवं 29 मार्च को इंटरव्यू हुए थे।

कार्य परिषद की बैठक में 29 जून को दिल्ली में हुई वित्त समिति में पारित प्रस्ताव को भी मंजूरी दे दी गई। इविवि ने वर्ष 2017-2018 के बजट के तहत हुए विभिन्न प्रकार के खर्चों का विवरण वित्त समिति में रखा था। समिति ने उसे पारित कर दिया था। शनिवार को कार्य परिषद की बैठक में भी इसे मंजूरी दे दी गई। पारित प्रस्ताव अब सीएजी को भेजा जाएगा और सीएजी की टीम उसका ऑडिट करेगी। इसके बाद सीएजी की ओर से ऑडिट रिपोर्ट केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय भेजी जाएगी। हिंदी विषय में प्रोफेसर के पद पर जिन विषयों शिक्षकों का चयन हुआ है। उनमें एक डॉ. संतोष कुमार भदौरिया महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा के इलाहाबाद केंद्र के प्रभारी है। गृह विज्ञान विषय में प्रोफेसर के एक ही पद पर भर्ती होनी थी और यह पद खाली रह गया। इंटरव्यू के दौरान कोई योग्य अभ्यर्थी न मिलने के कारण इस पद पर भर्ती नहीं हुई। हिंदी विभाग में एक शिक्षिका की प्रोफेसर के पद पर प्रोन्नति हुई है। कॅरियर एडवासंमेंट स्कीम (कैस) के तहत डॉ. लालसा यादव ने प्रोफेसर पद के लिए इंटरव्यू दिया था और उन्हें प्रोन्नति मिल गई।

हिंदी विभाग
असिस्टेंट प्रोफेसर- दिनेश कुमार, मीना कुमारी, सुधा त्रिपाठी, चितरंजन कुमार, विनम्र सेन सिंह, अमृता, सुजीत कुमार सिंह, सुरभि त्रिपाठी, अमितेश कुमार, संतोष कुमार सिंह, हेमराज डोगरा, सुनील कुमार सुधांशु, शिव कुमार यादव, दीना नाथ मौर्य, लक्ष्मण प्रसाद गुप्ता, अंशुमान कुशवाहा, अमिश शर्मा, विजय कुमार रविदास, गजुला राजू, वीरेंद्र कुमार मीना, जनार्दन।
एसोसिएट प्रोफेसर- अमरेंद्र त्रिपाठी, आशुतोष पार्थेश्वर, बसंत त्रिपाठी, बृजेश कुमार पांडेय, कुमार वीरेंद्र सिंह, राकेश सिंह, सुनील विक्रम सिंह, राजेश कुमार गर्ग।
प्रोफेसर- डॉ. संतोष कुमार भदौरिया, डॉ. शिव प्रसाद शुक्ला, डॉ. योगेंद्र प्रताप सिंह।

होम साइंस
असिस्टेंट प्रोफेसर- मोनिशा सिंह, प्रियंका केसरवानी, फरीदा अहमद, रितु कुमारी शुक्ला, प्रिया केशरी, एना गुप्ता।
एसोसिएट प्रोफेसर- नीतू मिश्रा।
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सेंटर ऑफ ग्लोबलाइजेशन स्टडीज
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असिस्टेंट प्रोफेसर- अंगिरा सेन शर्मा।
एसोसिएट प्रोफेसर- प्रदीप कुमार शर्मा।

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